दिल्ली:चालान के डर से कैब में कंडोम रख रहे हैं ड्राइवर, पुलिस ने बताया क्या है नियम
नई दिल्ली: दिल्ली में आजकल कैब ड्राइवर कंडोम रखकर घूम रहे हैं. इसको लेकर कैब ड्राइवरों का कहना है कि कंडोम नहीं रखने से उनका चालान कट सकता है. वहीं इस मामले को लेकर विशेष पुलिस आयुक्त (यातायात) ताज हसन ने सही नियम बताया है.
ताज हसन का कहना है कि मोटर व्हीकल एक्ट में कंडोम को लेकर किसी तरह की कोई बात नहीं है. उनका कहना है कि ड्राइवरों पर फर्स्ट एड बॉक्स में कंडोम नहीं रखने के लिए कोई चालान नहीं काटा जा रहा है.
दिल्ली के कैब ड्राइवरों का कहना है कि वे फर्स्ट एड बॉक्स में दवाओं के अलावा कंडोम भी रखते हैं. बॉक्स में कंडोम न रखने पर दिल्ली पुलिस उनका चालान काट रही है. ड्राइवरों का कहना है कि उन्होंने पुलिस से इसकी वजह नहीं पूछी लेकिन फर्स्ट एड बॉक्स में कंडोम न रहने पर उनका चालान काट दिया जाता है.
Cab drivers in Delhi say they've been carrying condoms, besides other medicines, in their first aid kits as they're penalised by police if found without condoms in their first aid kits. Say "We've never asked reason but we get challans if found without condoms in first aid kits." pic.twitter.com/IPTzHJQ8ip
— ANI (@ANI) September 21, 2019
कैब ड्राइवर रमेश, सचिन और राजेश ने कहा, कंडोम का इस्तेमाल सुरक्षित सेक्स के लिए किया जाता है. अगर कार में प्रेशर पाइप फट जाता है, तो कंडोम कुछ समय के लिए रिसाव को रोक सकता है. यदि बारिश होती है, तो यह जूते को कवर कर सकता है. चोट लगने की स्थिति में भी मददगार साबित होता है. ट्रैफिक पुलिस को कंडोम के उपयोग की जानकारी नहीं है. जब हम उन्हें बताते हैं तो वे हंसते हैं.
ब्लीडिंग को रोकने में मदद करता है कॉन्डम:-
ड्रावइरों को यह आइडिया नहीं है कि आखिर इनका इस्तेमाल क्या है। हालांकि खुद कमलजीत गिल बताते हैं कि इसका इस्तेमाल किसी की हड्डी में चोट आने या फिर कट लगने पर किया जा सकता है। वह बताते हैं, ‘यदि किसी व्यक्ति को ब्लीडिंग होने लगती है तो कॉन्डम के जरिए इसे रोका जा सकता है। इसी तरह फ्रैक्चर होने की स्थिति में उस जगह पर अस्पताल पहुंचने तक कॉन्डम बांधा जा सकता है।’
‘पुलिसकर्मी कभी नहीं पूछते कॉन्डम के बारे में’
कैब ड्राइवर रमेश कहते हैं कि मैंने सभी से ऐसा सुना है कि कॉन्डम रखना जरूरी है। इसलिए मैं कम से कम एक तो हमेशा ही रखता हूं। वह कहते हैं कि आज तक ट्रैफिक पुलिसकर्मियों की ओर से इस बारे में नहीं पूछा गया। हालांकि फिटनेस टेस्ट के दौरान कई बार पूछा गया है कि गाड़ी में उनके पास कॉन्डम रखे हैं या नहीं।
कॉन्डम रखने का कानून में कोई जिक्र नहीं
ट्रैफिक पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि ऐसा कोई नियम नहीं है। फिटनेस टेस्ट के दौरान भी ऐसी कोई पड़ताल नहीं की जाती। यही नहीं यही नहीं पुलिस अधिकारी ने कहा कि यदि कॉन्डम न रखने पर चालान होता है तो कैब ड्राइवरों को अथॉरिटीज से संपर्क करना चाहिए। उनका कहना था कि कई बार एनजीओ वर्कर ड्राइवरों को सेफ सेक्स के बारे में बताते हैं। शायद इसी की वजह से वे रखते हों। बता दें कि दिल्ली मोटर वीइकल रूल्स, 1993 और सेंट्रल मोटर वीइकल रूल्स, 1989 में भी इसका कोई जिक्र नहीं है।